सीधी: जिले के संजय दुबरी टाइगर रिजर्व में एक अनोखी घटना सामने आई है। बाघिन टी28, जिसे 'मौसी' के नाम से भी जाना जाता है, ने अपनी बहन के तीन शावकों को चार साल तक पाला। बहन की मौत के बाद उसने उन्हें शिकार करना सिखाया और अब उन्हें खुद से अलग कर दिया है। यह एमपी में ऐसा पहला मामला है। 'कमली' के शावकों को भी पाला था19 मई को शावक बाघिन से अलग दिखाई दिए। डीएफओ राजेश कन्ना टी और टमसार रेंजर असीम भूरिया के अनुसार, बाघिन ने अपनी बहन 'कमली' के शावकों को भी पाला था। इस असाधारण व्यवहार के कारण उसे मौसी, सुपर मॉम और आइकॉनिक मॉम जैसे नामों से जाना जाने लगा। ट्रेन से टकराकर घायल हुई थी 'कमली'16 मार्च 2021 को संजय टाइगर रिजर्व के दुबरी रेंज में एक दुखद घटना हुई। एक बाघिन, जिसका नाम कमली (टी18) था, ट्रेन से टकराकर घायल हो गई। वह लगभग 9 महीने पहले चार नर शावकों को जन्म दे चुकी थी। इलाज के दौरान हुई थी मौतरेस्क्यू टीम ने कमली को बचाने की कोशिश की, लेकिन अगले दिन इलाज के दौरान उसकी मौत हो गई। कमली के चार शावक जंगल में अनाथ हो गए। टाइगर रिजर्व प्रबंधन ने उनकी देखभाल शुरू की। 24 घंटे गश्त के लिए वन अमले की ड्यूटी लगाई गई। शावकों को भोजन मुहैया कराया गया। एक वयस्क बाघ टी-26 ने मारा एक शावकजिस क्षेत्र में शावक रहते थे, वहां एक वयस्क बाघ टी-26 भी था। उसने चार में से एक शावक को मार डाला। यह दुखद था कि शावक को मारने वाला बाघ भी कमली का ही बच्चा था। इसके बाद कमली के तीन शावक बचे थे। सगी बहनें थीं कमली और टी28 कमली और टी28 (मौसी) सगी बहनें थीं। कमली को पहली बार जून 2020 में शावकों के साथ देखा गया था। टी28 ने भी अक्टूबर-नवंबर 2020 के आसपास तीन शावकों को जन्म दिया था। दोनों की मां टी11 थी। दोनों की टैरेटरी अलग-अलग थी, लेकिन कमली की मौत के बाद एक अजीब घटना देखने को मिली। गश्ती दल ने की निगरानीकमली की मौत के कुछ दिन बाद टी28 के तीनों शावकों के साथ कमली के तीन शावक नजर आने लगे। टाइगर रिजर्व के गश्ती दल ने देखा कि बाघिन मौसी, कमली के शावकों का ध्यान अपने शावकों की तरह रख रही है। वह उनकी निगरानी कर रही थी और उनके लिए शिकार का इंतजाम भी कर रही थी। उन्हें शिकार करना भी सिखा रही थी। कुछ दिन बाद टी28 के एक शावक की भी हादसे में मौत हो गई। इसके बाद वह पांचों शावकों की देखभाल करने लगी। दुर्लभ घटना का गवाह बना मैनेजमेंटआमतौर पर बाघ-बाघिन अपने शिकार में किसी दूसरे की हिस्सेदारी पसंद नहीं करते, लेकिन इस बाघिन ने ऐतराज नहीं जताया। टी28 का इलाका टाइगर रिजर्व के मध्यवर्ती और पश्चिमी हिस्सों में फैला है। यह बाघिन अपनी ममता के साथ-साथ अपने शिकारी कौशल के लिए भी जानी जाती है। अप्रैल 2025 में इसने एक सांभर का शिकार किया। उसे अपने बच्चों के लिए जंगल में ले गई। सभी ने मिलकर शिकार खाया। 8 शावकों को पाल चुकी टी28टी28 ने अब तक 8 शावकों को पाला है। पांच अपने और तीन अपनी बहन के। किसी भी टाइगर रिजर्व में अपने आप में इस तरह का ये पहला मामला है। बाघ अकेला रहने वाला जानवर है। अपनी टैरेटरी में किसी और को बर्दाश्त नहीं करता, लेकिन टी28 ने न केवल अपने शावकों को एकजुट रखा बल्कि अपनी बहन के बच्चों को भी परिवार का हिस्सा बनाया। 19 मई को एक वीडियो सामने आया, जिसमें चारों शावक अलग-अलग दिख रहे हैं। इससे पता चलता है कि मौसी बाघिन ने शावकों को छोड़ दिया है।
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