भारत के इलेक्ट्रिक मोबिलिटी सेक्टर ने आज एक ऐतिहासिक कदम उठाया है। ओमेगा सीकी मोबिलिटी (OSM) ने दुनिया का पहला ड्राइवरलेस इलेक्ट्रिक थ्री-व्हीलर ‘स्वयंगति’ लॉन्च कर दिया है। इसकी शुरुआती कीमत सिर्फ 4 लाख रुपये है, जो इसे कमर्शियल इस्तेमाल के लिए तैयार बनाती है। आइए, इस अनोखे वाहन की खासियत और इसकी खूबियों को थोड़ा करीब से जानते हैं।
स्वयंगति की खास बातें‘स्वयंगति’ को OSM के इलेक्ट्रिक प्लेटफॉर्म और AI-आधारित ऑटोनॉमी सिस्टम पर डिज़ाइन किया गया है। यह वाहन छोटी दूरी की यात्राओं के लिए बिल्कुल सही है, जैसे कि एयरपोर्ट, स्मार्ट कैंपस, इंडस्ट्रियल पार्क, गेटेड कम्युनिटी और शहरों के भीड़भाड़ वाले इलाकों में। इसे पहले से मैप किए गए रास्तों पर सेट किया जाता है, जिससे यह बिना ड्राइवर के सुरक्षित और आसानी से चल सकता है। ट्रैफिक जाम और तंग गलियों में भी यह वाहन बिना किसी परेशानी के काम करता है, जो इसे शहरी ज़िंदगी के लिए एकदम परफेक्ट बनाता है।
क्यों है ये गेम-चेंजर?2025 की McKinsey रिपोर्ट बताती है कि ग्लोबल ऑटोनॉमस वाहन बाजार 2030 तक 620 बिलियन डॉलर से ज्यादा का हो जाएगा। ऐसे में ‘स्वयंगति’ भारत का पहला ऐसा प्रोडक्ट है, जो इस तेज़ी से बढ़ते ट्रेंड को न सिर्फ फॉलो कर रहा है, बल्कि उसे लीड करने की राह पर है। भारत जैसे देश में, जहां ट्रैफिक और लास्ट-माइल कनेक्टिविटी बड़ी चुनौतियां हैं, स्वयंगति एक सुरक्षित और किफायती समाधान लेकर आया है। यह ऑटोनॉमस इलेक्ट्रिक थ्री-व्हीलर न सिर्फ इलेक्ट्रिक मोबिलिटी को नया आयाम दे रहा है, बल्कि भारतीय सड़कों को स्मार्ट बनाने की दिशा में भी एक बड़ा कदम है।
कंपनी के दिग्गजों ने क्या कहा?OSM के फाउंडर और चेयरमैन उदय नारंग ने कहा, “स्वयंगति का लॉन्च सिर्फ एक प्रोडक्ट नहीं, बल्कि भारत के ट्रांसपोर्टेशन के भविष्य को नई दिशा देने वाला कदम है। अब ड्राइवरलेस वाहन कोई सपना नहीं, बल्कि आज की हकीकत हैं।” उन्होंने यह भी बताया कि AI और LiDAR जैसी तकनीकों को भारत में किफायती कीमत पर बनाना संभव है।
वहीं, OSM के चीफ स्ट्रेटेजी ऑफिसर विवेक धवन ने कहा, “हमारा मकसद ऑटोनॉमी को हर किसी के लिए सुलभ बनाना है। स्वयंगति ने दिखा दिया है कि इंटेलिजेंट सिस्टम्स को अब रोज़मर्रा की ज़िंदगी में लाया जा सकता है।” यह वाहन OSM को ग्लोबल लेवल पर एक चैंपियन बनाने की क्षमता रखता है।
पायलट टेस्टिंग से प्रोडक्शन तकस्वयंगति ने हाल ही में 3 किलोमीटर की ऑटोनॉमस रूट टेस्टिंग पूरी की, जिसमें 7 स्टॉप, रीयल-टाइम ऑब्स्टेकल डिटेक्शन और पैसेंजर सेफ्टी जैसे फीचर्स शामिल थे। यह सब बिना ड्राइवर के हुआ। अब कंपनी इसे कमर्शियल रोलआउट के लिए तैयार कर रही है, जो Phase-2 का हिस्सा है।
4 लाख रुपये की कीमत और ‘मेड-इन-इंडिया’ टैग के साथ स्वयंगति न सिर्फ ऑटो इंडस्ट्री को बदलने जा रहा है, बल्कि भारत को दुनिया के ऑटोनॉमस मोबिलिटी लीडर्स में शामिल करने का दम रखता है। OSM के लिए यह एक नई शुरुआत है, जो ड्राइवरलेस इलेक्ट्रिक थ्री-व्हीलर को भारत की हर सड़क तक पहुंचाएगा।
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